Land Registry: इस वर्ष भूमि रजिस्ट्री में हुए 4 बड़े बदलाब, जानिए पूरी डिटेल 

Land Registry: यदि आप रीयल इस्टेट का व्यापार करते हो या फिर आप इस वर्ष जमीन की खरीदी करने की सोच रहे हो तो आज का लेख आपके लिए अत्यंत महत्वपूर्ण साबित होने वाला है। बता दे सरकार ने इस नए वर्ष में जमीन की रजिस्ट्री के नियमों में बदलाव किया है, और कुछ नए नियम जारी किया है। यदि आप इन नए नियमों को जाने बिना अपनी भूमि की रजिस्ट्र करते है तो आपको काफी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।

तो आज का लेख आपको अवश्य ही पढ़ना चाहिए। आपको बता दे सरकार के नए नियमो से राहत भी देखने को मिल रही है। साथ ही आज का यह लेख पढ़कर आपको जानने को मिलेगा कि नियमो में हुए बदलावों से आम नागरिकों तथा व्यवसायियों के जीवन में क्या असर पड़ा है। आइए जानते है विस्तारपूर्वक जानकारी। 

Land Registration Rule 2025 

देश के साथ साथ पूरी दुनिया में बड़ी मात्रा में हर दिन लाखो जमीनों की रजिस्ट्री होती है, वही भारत में जमीन की रजिस्ट्री पर सरकार को भी काफी फायदा होता है। बता दे जमीन की रजिस्ट्री पर देश के नागरिकों को काफी ज्यादा मुश्किलों का सामना करना पड़ता है इसी को ध्यान में रखकर भी सरकार ने बदलाव किए है। 

इस आर्टिकल में हमे जानने को मिलेगा कि रजिस्ट्री के नियमों का बदलाव क्या मायने रखता है, साथ ही यह भी जानेंगे कि किस वजह से नियमो में बदलाव किए गए है, और इनके लाभों के बारे में भी जानकारी जानने को मिलेगी। 

Digital Land Registration: ऑनलाइन माध्यम से जमीन का रजिस्ट्रेशन

सबसे पहले और महत्वपूर्ण बदलाव की बात करे तो लैंड रजिस्ट्रेशन को डिजिटल करना है। जी हा आपने सही पढ़ा नए बदलाव के मुताबिक अब आप जमीन का रजिस्ट्रेशन घर बैठे ऑनलाइन माध्यम से कर सकेंगे। ऑनलाइन जमीनी रजिस्ट्रेशन से ऑफलाइन कागजी कार्यवाही पूर्णतः बंद हो जाएगी, और इससे आम नागरिकों का समय और पैसा दोनो में बचत होगी। 

इस बदलाव से रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया आसान तो बनेगी, बल्कि धोखाधड़ी तथा भ्रष्टाचार जैसे मामले भी अब काम देखने को मिलेंगे।क्योंकि ऑफलाइन रजिस्ट्री के चलते पटवारी, वकीलों के द्वारा काफी ज्यादा भ्रष्टाचार किया जाता था। 

रियल टाइम अपडेट सिस्टम 

नई नीति लागू होने से जमीन से जुड़े अपडेट भी तुरंत या फिर बहुत ही कम समय में हो जायेंगे। और आप अपने मोबाइल के माध्यम से अपडेट की जानकारी भी देख पाओगे। 

  • ऑनलाइन माध्यम से आप घर बैठे ही अपनी जमीनी संबंधित अपडेट कर पायेंगे, जिससे विवाद काम होगा और डेटा की सटीकता बढ़ेगी। 
  • इससे तत्काल ही बैंको तथा सरकारी विभागों को जानकारी जानने को जायेगी।
  • जब भी जमीनी संबंधी कार्य किया जायेगा और जमीन के रिकॉर्ड में कोई जानकारी गलत पाई जाती है तो वह काम रुकेगा नहीं तत्काल ही उसमे सुधार करके कार्य को पूर्ण किया जा सकेगा। 

आधार लिंकिंग का नियम

  • सरकार ने भू स्वामियों के लिए उनकी भूमि को आधार से लिंक करवाना अनिवार्य कर दिया है, इसके बिना भू स्वामी जमीन का क्रय विक्रय नही कर सकता है। इस नीति से हमे कई सारे लाभ प्राप्त होते है। 
  • आधार लिंकिंग की नीति के आ जाने से अब फर्जी जमीन रजिस्ट्रेशन पर रोक लगेगी। 
  • आधार लिंकिंग प्रक्रिया से अब ओटीपी या बायोमेट्रिक सत्यापन के माध्यम से ही जमीन का हस्तांतरण सफलतापूर्वक हो पाएगा। पहले सिर्फ हस्ताक्षर से धोखा धडी से हस्ताक्षर लेकर जमीन का हस्तांतरण कर लिया जाता था अब ऐसा नहीं होगा। 
  • इससे डेटा में गलती की गुंजाइश नहीं रहेगी, क्योंकि आधार से भू स्वामी की डिटेल अपनेआप सुधर जायेगी। 

बायोमेट्रिक से सत्यापन 

जैसा कि आपको हमने बताया कि बायोमेट्रिक के द्वारा जमीन की रजिस्ट्री होगी। बता दे जब भी कोई नागरिक जमीन की ऑनलाइन रजिस्ट्री करेगा तो भूस्वामी को ओटीपी तथा बायोमेट्रिक दोनो से सत्यापन करना होगा। इसके बीमा जमीन की रजिस्ट्री नही हो पाएगी।

ब्लॉकचैन तकनीकी का उपयोग

  • जमीन रजिस्ट्री में ब्लॉक चैन रजिस्ट्री का भी इस्तेमाल किया जाएगा। यह तकनीक जमीन रजिस्ट्री के जगत में गेम चेंजर साबित हो सकती है, क्योंकि यह जमीन के डेटा और रिकॉर्ड को अपरिवर्तनीय तथा अधिक सुरक्षित बनाएगी। 
  • इसके लाभ की बात करे तो इस तकनीक की मदद से एक बार रिकॉर्ड दर्ज हो जाने के बाद इसमें बदलाव किया जा सकेगा। इससे धोखकाधड़ी में कमी आयेगी। 
  • इससे प्रदर्शित आयेगी अर्थात जमीन संबंधित लेन देन का रिकॉर्ड सार्वजनिक रूप से उपलब्ध रहेगा यानी उसे कोई भी देख सकेगा। 

ऑनलाइन पेमेंट सिस्टम

  • ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन के साथ ही रजिस्ट्रेशन में लगने वाली अभी शुल्क तथा करो का भुगतान भी ऑनलाइन माध्यम से कर सकते है। 
  • ऑनलाइन भुगतान की प्रक्रिया से आम नागरिकों को काफी फायदा मिलेगा, पहले जमीन रजिस्ट्री में जो भी शुल्क या कर लगते थे उनका भुगतान वकील या पटवारी द्वारा किया जाता था। 
  • अब आम नागरिक जो जमीन अपने नाम पर करवा रहे है वे स्वयं ही अपने शुल्क तथा टैक्स का भुगतान कर पायेंगे। 
  • इससे भ्रष्टाचार में कमी आयेगी और वकीलों और पटवारी द्वारा ठगी में कमी आयेगी। 
  • लोगो को दफ्तरों का चक्कर नही लगाना होगा, अतः वे तत्काल ही रजिस्ट्रेशन शुल्क का भुगतान कर सकेंगे। 
  • अब आप इतना तो समझ हो गए होंगे कि भूमि का ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन होने से प्रक्रिया में काफी तेजी देखने को मिलेगी। 

जमीन विवाद में कमी आयेगी

  • जब भी कोई विवाद का मामला सामने आता है तो इसे भी आप ऑनलाइन प्लेटफार्म के माध्यम से अपने विवाद को दर्ज कराकर इसका निपटान करा सकते है। 
  • आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस यानी AI के द्वारा विवादो के निपटान में मदद मिलेगी, वाकई में इससे हमे काफी लाभ मिलेगा। 
  • वीडियो कांफ्रेंसिंग की मदद से भी अधिकारियो द्वारा आपके विवादो की सुनवाई की जायेगी और इसका निपटान तत्काल किया जायेगा।

रियल एस्टेट सेक्टर पर प्रभाव 

  • जमीन रजिस्ट्रेशन में बदलाव लाने से रियल इस्टेट बिजनेस पर काफी प्रभाव पड़ने वाला है आपको बता दे इससे रियल इस्टेट व्यवसाय के सकारात्मक प्रभाव देखा जायेगा। 
  • बता दे इससे प्रोजेक्ट का अप्रूवल आसान तथा तेज होगा, साथ ही लैंड बैंक को बेहतर तरीके से मैनेज किया जा सकेगा। 
  • नई नीति से रियल इस्टेट में भी होने वाली धोखा धडी में कमी आयेगी, अतः इस बिजनेस के निवेश करना काफी ज्यादा सुरक्षित हो जायेगा।

निष्कर्ष 

वर्तमान युग डिजिटल का युग है ऐसे में जमीनी रजिस्ट्रेशन को डिजिटल से जोड़ना हमारे देश के लिए काफी ज्यादा फायदेमंद साबित होने वाला है। इस नए नियम के आने से आप भारत के एक छोर से दूसरे छोर की जमीन को अब बड़ी ही आसानी से खरीद पाएंगे। इस नई नीति के आने से रियल इस्टेट का मार्केट और ज्यादा बढ़ने वाला है, ऐसे में इस बिजनेस के अपना करियर बनाना एक अच्छा विकल्प हो सकता है। 

इसे भी पढ़े – राशन कार्ड के नए नियमों में हुए बदलाव, इन 3 परिवारों को मिलेगा मुफ्त में राशन!

इसे भी पढ़े – रेलवे टिकट पर वरिष्ठ नागरिकों को मिलेगी 50% की छूट, जाने पूरी डिटेल

Leave a Comment